MOU की फुल फॉर्म क्या होती है?
MOU की अंग्रेजी में फुल फॉर्म Memorandum of Understanding होती है और इसे हिंदी में समझौता ज्ञापन के नाम से जाना जाता है। MOU एक प्रकार का दस्तावेज हॉट है जो दो पार्टियों के बीच द्विपक्षीय या बहुपक्षीय समझौते का वर्णन करता है। यह एक प्रकार से दो पार्टियों के बीच अभिसरण करता है और सामान्य कार्यवाही की रेखा को दिखता है।
MOU का मतलब क्या होता है?
MOU एक ऐसा दस्तावेज है जो पार्टियों के बीच द्विपक्षीय व बहुपक्षीय समझौते को दर्शाता है। यह पार्टियों के एक अभिसरण को व्यक्त करता है। MOU का उपयोग उन मामलों में अधिक किया जाता है जिनमें पार्टियां कानूनी प्रतिबद्धता नहीं करती हैं या फिर जहां पार्टियां कानूनी रूप से प्रवर्तन का समझौता नहीं करती हैं। MOU एक प्रकार से समझौते का एक औपचारिक विकल्प है। MOU अधिकतर कानूनी रूप से बाध्यकारी अनुबंध नहीं होता है लेकिन इसमें सभी महत्वपूर्ण जानकारी शामिल होती है। MOU में उच्च स्तर के आपसी सम्मान भी शामिल होता है। MOU को कानूनी कार्यवाही का पहला कदम भी बोल जा सकता है। अमेरिका में, इसे लेटर ऑफ इंटेंट के नाम से जाना जाता है। यह व्यापक रूप से अंतरराष्ट्रीय समझौतों में अधिकतर उपयोग में लिया जाता है। ऐसा इसलिए क्योंकि इसे कम समय में बनालर इसकी पुष्टि आसानी से की जा सकती है। MOU का उपयोग मौजूदा कानूनी दस्तावेजों में कुछ संशोधित करने के लिए भी होता है।
MOU के उद्देश्य क्या है?
जो MOU अद्वितीय होते है वे एक प्रारूपण करते समय, यह ध्यान रखते है कि आप और अन्य पक्ष उस बात से सहमत हैं या नहीं। MOU यह भी दर्शाता है की आपके आपके पारस्परिक लक्ष्य क्या हैं और आपके लक्ष्य उस ज्ञापन में शामिल है या नहीं। MOU में निम्नलिखित ज्ञापन हो सकते है:
- MOU में वाणिज्यिक साझेदारी का उद्देश्य शामिल हो सकता है।
- इसमें पार्टियों के सामान्य लक्ष्य हो सकता है।
- इसमें प्रत्येक पार्टी की भूमिका हो सकती है।
- इसमें किसी भी समय सीमा पर सहमत ज्ञापन हो सकता है।
- इसमें पार्टियां अपने विवादों को कैसे सुलझाएंगी भी शामिल हो सकता है।